एकांकी या एकल परिवार संयुक्त परिवार के विपरीत होता है। इसके सदस्यों की संख्या संयुक्त परिवार से बहुत कम होती है। संयुक्त परिवार के विघटन के पश्चात एकल परिवार अतृत्व में आता है। एकल परिवार का प्रचलन पश्चिमी देशों से हुआ है लेकिन भारत में भी वर्तमान समय में एकल परिवार की प्रवृत्ति तेजी से बढ़ रही है और संयुक्त परिवार का विघटन हो रहा है। एकल परिवार में केवल पति-पत्नी और उनकी अविवाहित संताने ही रहती है। पुत्र की शादी होते ही उसका अलग परिवार बसा दिया जाता है। इस प्रकार के परिवार में परिवार के मुखिया की जिम्मेदारी अपनी पत्नी और बच्चों तक ही होती है।