ह्वेनसांग के भारत विवरण
ह्वेनसांग एक चीनी यात्री था जो सम्राट हर्षवर्धन के शासन काल में भारत आया और लगभग 16 वर्षो तक भारत का भ्रमण किया। अपने अनुभवों के आधार पर उसने भारत का विवरण एक पुस्तक सी-यू-ची में लिखा। उसने बताया कि लोगों का जीवन स्तर अत्यधिक ऊँचा था सोने-चाँदी के सिक्के और कौड़ियाँ और मोती भी मुद्रा के रूप में प्रचलित थे रेशम, ऊन और सूत के कपड़े बनाने की कला अत्यधिक उन्नत थी तथा उच्च व्यक्तियों के आभूषण असाधारण थे औद्योगिक जीवन जातियों तथा बड़ी-बड़ी श्रेणियों तथा निगमों पर आधारित था। देश के औद्योगिक जीवन में ब्राह्मणों का कोई भाग नहीं था। खेती का कार्य शूद्रों के हाथों में था। उस समय शिक्षा धार्मिक रूप में दी जाती थी। वेदों का प्रचलन मौखिक रूप से था। साधु-सन्यासियों भिक्षुओं और विद्वानों का आदर होता था।
प्रतिहार वंश पर संक्षिप्त टिप्पणी लिखिए।
शासन व्यवस्था अच्छी थी। शासक प्रजा हितैषी थे। ह्वेनसांग के अनुसार हर्ष के समय में गुप्तचर व्यवस्था अति उत्तम थी। आय के साधन के रूप में भूमि कर ही प्रमुख था तथा इस राजकीय आय को शासन संचालन, यज्ञ अनुष्ठान अधिकारी वर्ग, मन्त्रियों के वेतन, योग्य व्यक्यिों को पुरस्कार, धार्मिक संस्थाओं को दान इत्यादि में खर्च किया जाता था। स्वेनसांग के अनुसार उस समय भारत में कृषि और व्यापार की दशा उत्तम थी। देश धन-धान्य से परिपूर्ण था।